देवराज चौहान सुदर्शन टुडे
राजगढ़। कई मामलों में हमने देखा है कि किसी भी काम को कराने के लिए संबंधित विभाग के अधिकारियों को किस तरह की मशक्कत करनी पड़ती है। या कहें कि कई प्रकार के प्रलोभन भी देना पड़ते हैं। उसके बाद जाकर कहीं ना कहीं काम हो पाता है, या यूं कहें कि इसके बाद भी कई मामलों में काम होने की सफलता हितग्राही के हाथ नहीं लग पाती है और उसके लिए कई बार कई प्रकार की कीमतें भी चुकानी पड़ती है।लेकिन राजगढ़ जिला चिकित्सालय में इस बार एक ऐसा मांजरा हुआ जिसकी प्रशंसा ना सिर्फ विभाग बल्कि गर्भवती महिला व उसके परिवार सहित स्टाफ के लोग भी कर रहे हैं। मामला था मनीषा पति कन्हैया लाल सन खेड़ी का जिसे हीमोग्लोबिन की कमी के कारण आशा कार्यकर्ता के माध्यम से बीटी के लिए खुजनेर से जिला अस्पताल रेफर किया गया था। जहां महिला के ब्लड ग्रुप वाला ब्लड नहीं होने पर उसकी स्थिति खराब होते देख आशा कार्यकर्ता ने अपने अधिकारी बीसीएम सैयद फिरोज को फोन लगाया और कहा सर महिला की स्थिति गंभीर है और उसको लगने वाला ब्लड ग्रुप का ब्लड जिला चिकित्सालय में उपलब्ध नहीं है। साथ ही आशा कार्यकर्ता ने बताया कि उसके परिजन भी इस ब्लड ग्रुप से ताल्लुक नहीं रखते हैं और वह लोग हर प्रकार की मशक्कत कर चुके हैं ऐसे में सर आप कहीं से व्यवस्था करा दीजिए। आशा कार्यकर्ता के इन शब्दों को सुनकर बीसीएम सैयद फिरोज ने इंसानियत का फर्ज निभाते हुए क्योंकि वह ब्लड ग्रुप स्वयं सैयद फिरोज का था बिना देरी किए उन्होंने ब्लड बैंक पहुंचकर संबंधित महिला को रक्तदान कर मानवता का फर्ज निभाया ।