सुनील शर्मा सुदर्शन टुडे देवास कांटाफोड़ –
गरीबों को मिलने वाले राशन में शासन की ओर से चावल भी दिया जाता है। सूत्रों के अनुसार पीडीएस चावल के इस खेल में बड़े पैमाने पर हेरा फेरी की जा रही है गल्ला व्यापारियों के द्वारा बड़े पैमाने पर ग्रामीण क्षेत्र से छोटे लोडिंग वाहनों से रोजाना खरीदी की जाती है दिन के उजियारे में धड़ल्ले से निकलने वाले यह वाहन बंद पड़ी पुरानी जीनिंग फैक्ट्रीयो में पीडीएस चावल का स्टॉक करते हैं और वही रात के अंधेरे में बड़े ट्रकों से चावल बाहर भेज दिया जाता है। सूत्रों की माने तो एक हफ्ते में लगभग 3 से 4 बार 14 पहिया ट्रक के माध्यम से बाहर पीडीएस चावल भेजा जा रहा हैं। कांटाफोड़ क्षेत्र में ही इतने बड़े पैमाने पर पीडीएस चावल का व्यापार होना कई प्रश्नों को जन्म देता है।
क्षेत्र में नहीं होती धान की खेती
इस क्षेत्र में दूर-दूर तक धान की खेती नहीं होती लेकिन उसके बाद भी बड़े पैमाने पर कल व्यापारी द्वारा चावल का खरीदना व उसको बाहर बेचना बड़े पैमाने पर जारी है अब प्रश्न यह उठता है की पीडीएस चावल का खेल गरीबों को राशन बांटने वाली सोसाइटियों से किया जा रहा है या चावल बटने के बाद स्वयं उपभोक्ता इसे बेच रहे हैं।अब देखना होगा कि खाद्य विभाग सहित प्रशासन इन कालाबजारियो पर कब कार्यवाही करता है।