सुदर्शन टुडे संवाददाता ओमप्रकाश राठौर बोड़ा पत्रकार
जब तक व्यक्ति धर्म से नहीं जुड़ेगा तब तक उसे ईश्वर की प्राप्ति नहीं हो सकती भागवत आचार्य जगदीश पांड्या नागदा श्रीमद भागवत कथा समापन के बाद हुआ हवन यज्ञ पश्चात महाआरती कर महाप्रसादी वितरण की गई।
बोड़ा:-ग्राम चोरखेड़ी मे धार्मिक अनुष्ठान के सात दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा मैं उमड़ा जन सैलाब राजगढ़ जिले के इस गांव में श्रद्धालुओं का जन सैलाब में जितने लोग पांडाल में थे उससे दूगने लोग बाहर खड़े रहे भागवत आचार्य जगदीश पांड्या नागदा ने बताया जब तक व्यक्ति धर्म से नहीं जुड़ेगा तब तक उसे भगवान की प्राप्ति नहीं हो सकती भगवान की प्राप्ति के लिए विश्वास चाहिए सुदामा ने परमात्मा के ऊपर विश्वास करा अंत में परमात्मा का दर्शन हुआ एवं सुख की प्राप्ति हुई परमात्मा से प्राप्त हुआ धन सुख देता है विपत्ति के समय में अपने वाले साथ छोड़ देते हैं परंतु परमात्मा कभी साथ नहीं छोड़ता यह बात द्रोपति के प्रसंग में कहीं जब जब जीव को अभिमान आया भगवान ने उसका पतन कर दिया कलयुग में भगवान की कथा और उनका नाम ही पाप का नाश करने वाला है मुक्ति देने वाला है इस धार्मिक अनुष्ठान के समापन दिवस पर भगवान श्रीकृष्ण की सर्वोपरि लीला रासलीला, मथुरा गमन, दुष्ट कंस राजा के अत्याचार से मुक्ति के लिए कंसवध, शिशुपाल वध एवं सुदामा चरित्र का वर्णन कर लोगों को भक्तिरस में डुबो दिया। इस दौरान भजन गायकों ने उपस्थित लोगों को ताल एवं धुन पर नृत्य करने के लिए विवश कर दिया। विगत सात दिनों तक भगवान श्री कृष्ण के वात्सल्य प्रेम, असीम प्रेम के अलावा उनके द्वारा किए गए विभिन्न लीलाओं का वर्णन कर वर्तमान समय में समाज में व्याप्त अत्याचार, अनाचार, कटुता, व्यभिचार को दूर कर सुंदर समाज निर्माण के लिए युवाओं को प्रेरित किया।इस अवसर पर हजारों की संख्या में श्रोताओं ने श्री भागवतजी का रस पान किया।लोगों ने दोपहर में इस संगीतमयी भागवत कथा का आनंद उठाया।अंत मे गांव के यज्ञ पंडाल में श्री मंद भागवत महा पुराण की हवन पूजन कर पूर्ण आहुति दी गई ।वही सभी यजमान पूर्व भाजपा जिला अध्यक्ष देवीसिंह रूहेला (विधायक प्रतिनिधि), भाजपा नेता भारत सिंह रुहेला एवं सैकड़ो लोगों ने मिलकर आरती उतारी एवं महा प्रसादी वितरण की गई ।इसके पश्चात भागवत कथा वाचक भागवत आचार्य जगदीश पांड्या नागदा का भव्य स्वागत सत्कार सम्मान किया । इस अवसर पर बड़ी संख्या में श्रद्धालु मौजूद थे। भागवत कथा समापन पश्चात भंडारा का आयोजन किया गया।इस सात दिवसीय भागवत कथा में आसपास गांव के अलावा दूर दराज से काफी संख्या में महिला.पुरूष भक्तों ने इस कथा का आनंद उठाया।