सुदर्शन टुडे शहडोल ब्यूरो
शहडोल।सहायक आयुक्त जनजातीय कार्य विभाग शहडोल ने सहायक शिक्षक प्रा0 शाला बैरिहा अरविंद सिंह चौहान संकुल केन्द्र प्राचार्य शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय रामपुर विकासखण्ड बुढार को मूल नियम 54 एवं मध्यप्रदेश सिविल सेवा वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील नियम 1966 के नियम 10 (9) के तहत सेवा से पृथक किया है। गौरतलब है कि सहायक शिक्षक प्रा0 शाला बैरिहा अरविंद सिंह चौहान के विरूद्व थाना अमलाई में 66/13 धारा 307/34 ता.हि. के प्रकरण दर्ज किये जाने तथा 48 घंटे से अधिक पुलिस अभिरक्षा में होने के फलस्वरूप उन्हें निलंबित किया गया था। थाना अमलाई पुलिस द्वारा माननीय न्यायालय बुढार में प्रकरण प्रस्तुत किये जाने पर उन्हें आरोप पत्र जारी कर उत्तर चाहा गया था तथा प्रकरण में विभागीय जांच संस्थापित कर विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी बुढार को जांचकर्ता अधिकारी एवं मंडल संयोजक जयसिंहनगर को प्रस्तुतकर्ता अधिकारी नियुक्त किया गया था। श्री अरविंद सिंह चैहान को न्यायालय अपर सत्र न्यायाधीश बुढार के पारित आदेश में आरोप सिद्व पाये जाने पर 10 वर्ष का कारावास एवं 10 हजार रूपये का अर्थदण्ड व राशि जमा न करने पर दो माह का दण्ड दिया गया है। साथ ही आयुध अधिनियम की धारा 25 (1बी) ए एवं 27 में पाॅच वर्ष की सजा तथा 5 हजार रूप्ये का अर्थदण्ड व राशि जमा न करने पर एक माह का दण्ड दिया गया है। जिसके फलस्वरूप निलंबित श्री चैहान को कारण बताओं सूचना पत्र जारी कर 15 दिवस के भीतर जवाब चाहा गया था। श्री चैहान द्वारा कोई उत्तर प्रस्तुत नही किये जाने पर उक्त कार्यवाही की गई है।सजायाफ्ता सहायक शिक्षक प्रा.शाला बैरिहा अरविंद सिंह चौहान सेवा से पृथक सुदर्शन टुडे शहडोल ब्यूरो
शहडोल।सहायक आयुक्त जनजातीय कार्य विभाग शहडोल ने सहायक शिक्षक प्रा0 शाला बैरिहा अरविंद सिंह चौहान संकुल केन्द्र प्राचार्य शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय रामपुर विकासखण्ड बुढार को मूल नियम 54 एवं मध्यप्रदेश सिविल सेवा वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील नियम 1966 के नियम 10 (9) के तहत सेवा से पृथक किया है। गौरतलब है कि सहायक शिक्षक प्रा0 शाला बैरिहा अरविंद सिंह चौहान के विरूद्व थाना अमलाई में 66/13 धारा 307/34 ता.हि. के प्रकरण दर्ज किये जाने तथा 48 घंटे से अधिक पुलिस अभिरक्षा में होने के फलस्वरूप उन्हें निलंबित किया गया था। थाना अमलाई पुलिस द्वारा माननीय न्यायालय बुढार में प्रकरण प्रस्तुत किये जाने पर उन्हें आरोप पत्र जारी कर उत्तर चाहा गया था तथा प्रकरण में विभागीय जांच संस्थापित कर विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी बुढार को जांचकर्ता अधिकारी एवं मंडल संयोजक जयसिंहनगर को प्रस्तुतकर्ता अधिकारी नियुक्त किया गया था। श्री अरविंद सिंह चैहान को न्यायालय अपर सत्र न्यायाधीश बुढार के पारित आदेश में आरोप सिद्व पाये जाने पर 10 वर्ष का कारावास एवं 10 हजार रूपये का अर्थदण्ड व राशि जमा न करने पर दो माह का दण्ड दिया गया है। साथ ही आयुध अधिनियम की धारा 25 (1बी) ए एवं 27 में पाॅच वर्ष की सजा तथा 5 हजार रूप्ये का अर्थदण्ड व राशि जमा न करने पर एक माह का दण्ड दिया गया है। जिसके फलस्वरूप निलंबित श्री चैहान को कारण बताओं सूचना पत्र जारी कर 15 दिवस के भीतर जवाब चाहा गया था। श्री चैहान द्वारा कोई उत्तर प्रस्तुत नही किये जाने पर उक्त कार्यवाही की गई है।