सुदर्शन टुडे गंजबासौदा (नितीश कुमार)।
शनिवार को नई कृषि उपज मंडी कंजना पठार में दोपहर 1:30 के बाद किसानो की उपज की नीलामी व्यापारियों द्वारा नहीं किए जाने से आक्रोशित किसानों ने मंडी के सामने प्रदर्शन करते हुए रास्ता जाम कर दिया और व्यापारियों एवं मंडी प्रशासन के विरुद्ध जमकर नारेबाजी की। मुख्य सड़क पर प्रदर्शन किए जाने से सड़क के दोनों तरफ वाहनों की लंबी-लंबी कतारें लग गई। मौके पर पहुंची पुलिस ने बाईपास मार्गो से वाहनों को निकाला। किसानों ने बताया कि हम 2 दिन से अपनी उपज लेकर मंडी प्रांगण में खड़े हुए हैं, कुछ किसान तो किराए की ट्रैक्टर ट्राली लेकर आए हैं ऐसी स्थिति में अगर अभी भी हमारी उपज की नीलामी नहीं होती है तो हमें फिर पांच दिन इंतजार करना पड़ेगा, क्योंकि शनिवार के बाद आगामी 5 दिनों तक मंडी का अवकाश है। इस वक्त किसानों को रूपयों की आवश्यकता है तो वही ग्राम अंडिया कलां के किसान महेश चौकसे ने बताया कि मंडी प्रशासन ने एक दिन में कितनी ट्रॉली उपज की नीलामी होगी इसकी कोई लिमिट तय नहीं की है जिसके चलते दूर-दूर से किसान अपनी उपज बेचने आते हैं। नीलामी प्रक्रिया की कोई समय सीमा तय नहीं कर रखी है कभी 1:30 बजे तक तो कभी 2-3 बजे तक नीलामी होती है। आज व्यापारियों ने 1:30 बजे के बाद डाक नीलामी करने से मना कर दिया, आरोप लगाया कि मंडी प्रशासन और व्यापारी मनमर्जी से मंडी चल रहे हैं जिसके चलते किसान परेशान है। हमारी मांग है कि शेष ट्रैक्टर ट्रालियों की डाक नीलामी आज ही करवाई जाए।करीब 350 किसान की उपज नहीं हो सकी नीलामबताया जा रहा है कि उपज बेचने मंडी पहुंचे किसानों की संख्या अधिक होने के कारण करीब 350 किसानों की गेहूं की उपज नीलाम नहीं हो सकी थी। जिसके चलते किसानों ने मंडी प्रशासन एवं व्यापारियों से बात करनी चाही लेकिन उचित समाधान नहीं मिलने पर गुस्साए किसानों ने मंडी के सामने ही मंडी कमेटी और व्यापारियों के खिलाफ प्रदर्शन कर रास्ता जाम कर दिया। अनाज व्यापारियों एवं मंडी प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी करने लगे। मंडी प्रशासन ने आनन-फानन में की बैठकमंडी प्रशासन ने मौके की नजाकत को समझते हुए तुरंत व्यापारियों एवं हम्मालों की बैठक मंडी के सचिव कार्यालय में बुलाकर शेष किसानों की उपज की डाक नीलामी शनिवार को ही करने का फैसला किया।दरअसल शनिवार के बाद लगातार पांच दिनों तक मंडी की छुट्टियां हैं। जिसके चलते मंडी नहीं हो पाने वाले किसानों को लगातार 5 दिनों तक मंडी में रुकना पड़ता या अपने गांव ट्राॅली लेकर वापस जाना पड़ता। जिससे किसानों को अत्यधिक आर्थिक हानि उठानी पड़ती एवं समय भी बर्बाद होता। जिसके चलते किसानों द्वारा प्रदर्शन किया गया।बातचीत के बाद प्रारंभ हुई डाक नीलामी मडी व्यापारी को 60 हज़ार क्विंटल की खरीदारी करने के बाद और खरीदारी करने पर हम्मालों द्वारा तुलाई न करने का संदेह था। जिसके चलते व्यापारियों ने शेष ट्राॅलियों की तुलाई करने से मना कर दिया था। बैठक में गंजबासौदा मंडी के सचिव सुनील भालेकर द्वारा मंडी व्यापारियों एवं हम्मालों के बीच सामंजस्य बिठाकर शनिवार को ही शेष अनाज की ट्रॉलियों की तौल करवा दी गई।मडी प्रशासन एवं व्यापारियों के बीच तालमेल का अभावनिवार को हुए पूरे घटनाक्रम में मंडी प्रशासन एवं व्यापारियों के बीच तालमेल की कमी देखने को मिली। जब पूर्व में व्यापारियों एवं प्रशासन को आज के बाद आगामी 5 दिनों की छुट्टियों की सूचना थी। इसके बाद भी पूर्व में मंडी में डाक नीलामी के लिए पहुंचे सभी किसानों की उपज की तुलाई की चिंता पहले क्यों नहीं की गई। आपको बता दूं कि माह अप्रैल में मंडी की करीब 12 छुट्टियां प्रस्तावित है। जिससे आने वाले समय में इसी तरह की समस्या दोबारा सामने आ सकती है। जिसको लेकर प्रशासन एवं व्यापारियों को पहले से विचार कर तुलवाई के लिए पहुंचे सभी किसानों के अनाज को तौलने की व्यवस्था करनी चाहिए।